Friday, August 7, 2015

सबसे पहले संस्थान सुधारना है: प्रो. पांडेय

जागरण संवाददाता, आगरा: केंद्रीय ¨हदी संस्थान में नए निदेशक की नियुक्ति के लिए शुरू हुआ काउंट डाउन अब समाप्त हो गया है। नए निदेशक प्रो. नंद किशोर पांडेय अगस्त के अंत में कार्यभार संभाल लेंगे। वर्तमान में जयपुर विवि के डीन, रिसर्च डायरेक्टर तथा ¨हदी भाषा के उत्थान के लिए चल रहे वृहद् प्रोजेक्ट के कारण वे अत्यंत व्यस्त हैं। गुरुवार को उन्होंने दैनिक जागरण को दिए खास इंटरव्यू में संस्थान को लेकर कई बिंदुओं पर बात की। प्रस्तुत हैं बातचीत के प्रमुख अंश:
- संस्थान को लेकर आपकी पहली प्राथमिकता क्या है?
- मुझे पता लगा है कि संस्थान अच्छी हालत में नहीं है। यहां शिक्षकों की कमी है, कर्मचारियों की कमी है, भवन की हालत भी ठीक नहीं है। सबसे पहले स्थिति सुधारनी है।
- हिंदी भाषा को बढ़ावा देने के लिए नई योजनाएं बनाने पर विचार किया है?
- यहां जो प्रशिक्षण कार्यक्रम चलते हैं, उनकी गुणवत्ता बढ़ाई जाएंगी। शोध पत्र-पत्रिकाओं को नियमित और व्यवस्थित करना है।
देश में ¨हदी केंद्रों की स्थिति को लेकर आप संतुष्ट हैं?
- नहीं, मेरी कोशिश रहेगी कि बंगाल, दक्षिण भारत, पंजाब, कश्मीर जैसे राज्यों में भी संस्थान के केंद्र खोले जाएं। वर्तमान में देश में आठ केंद्र हैं, इतने केंद्र ¨हदी भाषा शिक्षण के लिए पर्याप्त नहीं हैं।
- विदेशी छात्रों को लेकर भी आपने कोई योजना बनाई है?
- वर्तमान में जितनी सीटें संस्थान में विदेशी छात्रों के लिए निर्धारित हैं, उन्हें बढ़ाने का प्रयास किया जाएगा। जिन देशों के छात्र यहां पढ़ते हैं, वहां ¨हदी को लेकर संगोष्ठी, शोध की व्यवस्था की जाएगी।

स्रोत - दैनिक जागरण (07/08/2015)
http://bit.ly/1IPEcdt

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